राम मंदिर निर्माण के लिए पूरे देश में चलेगा जनसंपर्क अभियान

हिन्दु धर्म के लोगों के अराध्य देव प्रभु श्री राम के मंदिर का निर्माण किसी एक व्यक्ति या संस्था के पैसों से नहीं होकर पूरे देश की जनता से मंदिर निर्माण के लिए चंदा लेने के लिए जनवरी से से देशव्यापी जनसंपर्क अभियान श्ुारू करने का फैसला किया गया है। इस अभियान के तक देश के सभी राज्यों में घर-घर जाकर मंदिर निर्माण के लिए दान मांगा जाएगा इसके साथ देश के सभी राजनीतिक दलों से भी उनकी इच्छानुसार दान देने के लिए आग्रह किया जाएगा।

इस अभियान की शुरूआत जनवरी 15 से वीएचपी द्वारा किया जाएगा और देश के पांच लाख गांवों में 12 करोड़ से ज्यादा लोगों से संपर्क करने का प्लान बनाया गया है। इस अभियान में किसी विशेष समुदाय या जाति के लोगों से नहीं बल्कि सभी धर्मो के लोगों से दान मांगा जाएगा। मंदिर के शिलान्यास पीएम मोदी द्वारा किया जा चुका है और आने वाले 4 साल के अंदर यह मंदिर बनकर तैयार हो जाएगा। यूपी के सीएम योगी ने मंदिर निर्माण के लिए 11 लाख रूप्ये का सहयोग किया है।

वीएचपी ने कहा कि वह राहुल गांधी से भी मंदिर निर्माण के लिए आर्थिक सहयोग करने की अपील करेगी। इस अभियान के शुरू होने से पहले इस पर राजनीति होना भी शुरू हो गयी है कई पार्टियों ने आरोप लगाया कि राम के नाम पैसा जमा किया जाएगा और यह पैसा बीजेपी अपने चुनावों में इस्तेमाल कर सकती है। लेकिन वीएचपी ने कहा कि मंदिर निर्माण के लिए जो भी पैसा आएगा उसका ऑडिट करवाया जाएगा ताकि लोगों को पैसों के इस्तेमाल की सही जानकारी मिले।राम मंदिर को लेकर हमेशा राजनीति होती रही है लेकिन अब इस पर राजनीति करना सभी पार्टियों के गलत है यह हिन्दु धर्म के साथ दूसरे धर्मो के लिए भी आस्था का सवाल है।

धारा 370 हटने के बाद जम्मू कश्मीर चुनावों में दिखा बीजेपी का दम, जानिए पूरी खबर

जम्मू कश्मीर से धारा 370 हटने के बाद पहली बार जिला विकास परिषद की 280 सीटों पर हुए चुनाव के परिणाम आने शुरू हो गये है। शुरुआती रुझानों में बीजेपी और गुपकार गठबंधन के बीच कड़ी टक्कर देखने को मिल रही है तो अन्य दोनों दलों को चुनौती दे रहे हैं। धारा 370 हटाये जाने के बाद 7 दलों ने गुपकार गठबंधन बनाकर बीजेपी के खिलाफ एक साथ चुनाव लड़ा है जो कुछ हद तक सही साबित होता नजर आ रहा है।

गुपकार गठबंधन में पीपल्स कॉन्फ्रेंस, आवामी नैशनल कॉन्फ्रेंस,नैशनल कॉन्फ्रेंस, पीडीपी, J&K पीपल्स मूवमेंट के साथ ही सीपीआई और सीपीएम शामिल हैं। राज्य चुनाव आयोग के अनुसार आठ चरणों में 450 से अधिक महिला उम्मीदवारों समेत कुल 4,181 उम्मीदवार अपनी किस्मत अजमा रहे हैं। इन चुनावों को लेकर सुरक्षा के कड़े बंदोबस्त किये गये थे और प्रदेश की जनता ने भी इस चुनाव में बढ़चढकर मतदान किया था।

 

आपको बता दे कि अनुच्छेद 370 को हटाये जाने से पहले जम्मू और कश्मीर में त्रिस्तरीय पंचायत प्रणाली (ग्राम स्तरीय, ब्लॉक स्तरीय, जिला स्तरीय) नहीं थी। इन चुनाव के जरिए जम्मू के 10 और कश्मीर घाटी के 10 यानी कुल 20 जिलों में डीडीसी का गठन होगा जो वहां के विकास के लिए अहम साबित होगी।

पहले चरण का मतदान 28 नवंबर को और 8वें व अंतिम चरण का मतदान 19 दिसंबर को हुआ था। जिसमें लगभग 50 प्रतिशत से ज्यादा मतदान हुआ था जो एक बड़ी बात है। उम्मीद की जा रही है कि शाम तक नतीजे पूरी तरह से आ जाएंगे लेकिन इन चुनावों में कांग्रेस को ज्यादा सीटे मिलती नजर नहीं आ रही है तो दूसरी बीजेपी रिकॉर्ड सीटों से जीतने का दावा कर रही है। इन चुनावों में निर्दलीयों ने भी अपना दम दिखाया है और अब तक मिली जानकारी के अनुसार सभी पार्टियों से ज्यादा अन्य के खाते में ज्यादा सीटे जाती नजर आ रही है।

 

TMC में शामिल हुई पत्नी, तलाक का नोटिस भेजेंगे बीजेपी सांसद पति

पश्चिम बंगाल चुनावों से पहले तृणमूल कांग्रेस के कई नेता भारतीय जनता पार्टी में शामिल हो रहे है और लेकिन इस बीच बीजेपी सांसद सांसद सौमित्र खान की पत्नी सुजाता ने टीएमसी में शामिल होने की खबर सबको हैरान कर रही है। खबरों के अनुसार बताया जा रहा है टीएमसी छोड़ बीजेपी में शामिल होने वाले नेताओं के बीच सुजाता ने बीजेपी को छोड़कर टीएमसी की सदस्यता ले ली। पत्नी के इस फैसल के बाद नाराज सांसद सौमित्र खान ने अपनी पत्नी को तलाक देने की तैयारी कर ली है।

टीएमसी में शामिल होने के बाद सुजाता मंडल ने कहा कि बीजेपी में अब केवल अवसरवादियों को जगह दी जा रही है जो कार्यकर्ता मेहनत कर जीत हासिल करता है उसको कोई भाव नहीं देता है। सुजाता ने कहा कि हमने बीजेपी के लिए बहुत कुछ किया है और इसके बाद भी हमारे लिए बेजीपी में कोई सम्मान नहीं बचा तो हमारा वहां रहना उचित नहीं है।

सुजाता मंडल ने कहा कि टीएमसी को छोड़कर बीजेपी में आने वाले नेताओं को कैसे शुद्ध किया जाता है। सुजाता मंडल ने कहा कि पश्चिम बंगाल में अभी ही बीजेपी में मुख्यमंत्री पद के लिए कोई एक दावेदार नहीं है यहां सीएम और डिप्टी सीएम के कई दावेदार है जो बीजेपी के लिए ही नुकसान दायक साबित होगा। सुजाता मंडल के टीएमसी ज्वॉइन करने से उनके पति और बीजेपी सांसद सौमित्र खान बहुत नाराज है उन्होंने तलाक देने की तैयारी कर ली है।

बताया जा रहा है कि सौमित्र खान और सुजाता के बीच कई दिनों से पर्दे के पीछे जो लड़ाई चल रही थी वह अब खुलकर सामने आ गई है। पत्नी सुजाता की सांसद सौमित्र खान की जीत में एक महत्वपूर्ण भूमिका निभाई थी और तृणमूल कांग्रेस सरकार ने सुजाता के बांकुरा इलाके में जाने पर रोक लगा दी थी।

राजस्थान में नया सियासी संकट, BTP विधायकों ने छोड़ा गहलोत सरकार का साथ

राजस्थान में गहलोत सरकार को अपना समर्थन देकर उसकी सहायता करने वाली भारतीय ट्राइबल पार्टी (BTP) ने अब अपना समर्थन वापस ले लिया है। भारतीय ट्राइबल पार्टी (BTP) ने कई मौको पर कांग्रेस का साथ देकर उसकी नैया पार करवाने में मदद की है चाहे वह राज्यसभा का चुनाव हो या विधानसभा में विश्वास मत साबित करना हो। लेकिन पंचायत चुनावों में पहली बार बीजेपी और कांग्रेस के गंठबधन ने सभी को चौका दिया और इस बात से नाराज बीटीपी ने गहलोत सरकार से अपना समर्थन वापस लेने का फैसला किया है।

पंचायत चुनाव में मिली हार के बाद एक बार भी राजस्थान में अशोक गहलोत सरकार के सामने संकट खड़ा हो गया है कि वह भारतीय ट्राइबल पार्टी (BTP) को जिला प्रमुख नहीं बनने दिया जिसके कारण समर्थन वापस ले लिया है। भारतीय ट्राइबल पार्टी (BTP) के 2 विधायकों ने जब विधानसभा में गहलोत सरकार ने अपना बहुमत साबित किया था, तब दोनों विधायकों ने अशोक गहलोत का समर्थन किया था।

डूंगरपुर जिला परिषद सदस्यों के चुनाव में बीटीपी ने सबसे ज्यादा सीटें जीती थी, लेकिन कांग्रेस और बीजेपी के हाथ मिलाने के चलते बीटीपी का जिला प्रमुख नहीं बन सका। इसके कारण डूंगरपुर में बीजेपी ने अपना जिला प्रमुख बना लिया इसी बार से नाराज होकर भारतीय ट्राइबल पार्टी (BTP) ने अपना समर्थन वापस लिया है।


हालांकि, मौजूदा समय में दो विधायकों के समर्थन वापस लेने से अशोक गहलोत सरकार पर कोई असर नहीं पड़ेगा लेकिन आने वाले समय में यह कांग्रेस के लिए बड़ी परेशानी बन सकता है। बीते दिनों खुद मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने आशंका जताई थी कि राज्य में फिर एक बार सरकार गिराने कोशिश हो सकती है। इस बात से इनकार नहीं किया जा सकता कि राजस्थान में कांग्रेस दो गुटो में बटी हुई है और एक पक्ष में गहलोत तो दूसरे पक्ष में सचिन पायलट है। पंचायत चुनावों में कांग्रेस का प्रदर्शन ज्यादा अच्छा नहीं रहा है और कई विधायक और मंत्रियों के क्षेत्रों में पार्टी को करारी हार का सामना करना पड़ा है।

राजस्थान पंचायत चुनावों में कांग्रेस हुई कमजोर, बीजेपी ने मारी बाजी

राजस्थान में हुए पंचायत समिति और जिला परिषद के चुनाव में बीजेपी ने शानदार प्रदर्शन करते हुए कांग्रेस को बड़ा झटका दिया है। कांग्रेस के सभी दिग्गज नेताओं के विधानसभा क्षेत्र में कांग्रेस को हार का सामना करना पड़ा है जिसके कारण कांग्रेस को सोचने पर मजबूर कर दिया है।

21 जिला प्रमुखों के लिए चुनाव में बीजेपी ने 14 और कांग्रेस को 5 पर जीत मिली है। इसके साथ राष्ट्रीय लोकतांत्रिक पार्टी के हनुमान बेनीवाल की पार्टी ने नागौर में अच्छा प्रदर्शन किया है। जबकि बाड़मेर में कांग्रेस और BJP दोनों को बराबर 18-18 सीटें मिली है। वहीं, अगर बात करें पंचायत चुनाव की तो यहां भी बाजी बीजेपी ने मारी है बीजेपी के खाते में 1833 सीटों पर , जबकि कांग्रेस को 1713 सीटों पर जीत मिली है।

सचिन पायलेट व् अशोक गहलोत

अगर पिछले चुनावों के प्रदर्शन की बात करें तो सत्ता पक्ष की पार्टी को ज्यादा सीटे मिली थी, लेकिन इस चुनाव में कांग्रेस को ज्यादा फायदा नहीं हुआ और ग्रामीण क्षेत्रों में अपनी मजबूत पकड़ वाली कांग्रेस इस बार अपने परम्परागत वोट को अपने खाते में नहीं डाल सकी। चुनावों के ठीक पहले कांग्रेस समर्थित निर्दलय विधायक संयम लोढा व मुख्य सचिव के बीच हुई खिचातान में विधायक ने कहा था कि पाली में कांग्रेस का प्रदर्शन अच्छा नहीं होगा और चुनावों परिणामों में उनकी यह बात सच साबित होती नजर आ रही है।

हैदराबाद नगर निकाय चुनावों के नतीजों पर देश की निगाहे

हैदराबाद नगर निगम के चुनाव मंगलवार को समाप्त हो चुके है और इन चुनावों में सभी पार्टीयों ने अपनी पूरी ताकत लगा रखी थी। लेकिन इसके बाद भी मतदाताओं ने ज्यादा उत्साह नहीं दिखाया और बहुत कम मतदान हुआ।

ग्रेटर हैदराबाद में करीब 50 प्रतिशत से ज्यादा हिन्दू मतदाता हैं, जबकि मुस्लिम आबादी कम है इसी को ध्यान में रखते हुए बीजेपी ने यहां अपनी पूरी ताकत लगा दी है। यह देश का पहला नगर निगम का चुनाव था जिसमें देश के गृहमंत्री से लेकर बीजेपी के बड़े बड़े मंत्रियों के साथ यूपी के सीएम तक ने यहां प्रचार किया। नतीजे 4 दिसंबर को आएंगे इसी वजह से देश की निगाहे इन चुनावों पर टिकी हुई है।

फ़ाइल् फोटो { अमित शाह }

हैदराबाद नगर निगम के 150 सीटों के लिए मतदान हो चुका है और सभी दलों ने यहां अपनी अपनी जीत का दावा भी कर दिया है। बीजेपी इस निकाय में असदुद्दीन ओवैसी की पार्टी ऑल इंडिया मजलिस-ए-इत्तेहादुल मुस्लिमीन को टक्कर देने के लिए यहां अपनी पूरी ताकत लगा दी है।

 

राजस्थान की विधानसभा में भूतों का साया ! जानें क्या हैं पूरा मामला

राजस्थान विधानसभा में फिर दबी जुबा भूतों की चर्चा – विधायको गणों की मौत के साथ एक बार फिर चर्चा –

राजस्थान विधानसभा का नया भवन अत्याधुनिक सुविधाओं से लैस तैयार ​किया गया था लेकिन ​इस भवन पर भूतों के साये की बात एक बार फिर सच साबित होती नजर आ रही है।

साल 2001 से लेकर 2020 तक की किसी भी बैठक में सदन के सदस्यों की संख्या पूरी नहीं हुई. इस दौरान कभी विधायकों के लोकसभा का चुनाव जीत जाने या कभी किसी की मृत्यु हो जाने से यह आंकड़ा कभी पूरा नहीं हो पाया। लेकिन कई विधायक और पूर्व मंत्री इस संयोग को भूत—प्रेत से जोड़ चुके है।

लेकिन जब भी एक या दो विधायक की मौत होती है तो और संख्या घटती है तो ये अफवाह फिर से अपना मजबूत होती है कि इस विधानसभा पर काला जादू है जो 5 साल तक किसी भी सरकार के कार्यकाल में 200 की संख्या नहीं हो पा रही है।

 

 

 

कोरोना काल में दो कांग्रेस और एक बीजेपी विधायक की मौत के बाद विधानसभा पर भूतों के साये की अफवाह गर्म हो गयी है और इसके समाधान को लेकर कुछ करने की बात भी की जा रही है। कई मौको पर विधायक यह कह चुके हैं कि इस भवन का एक हिस्सा श्मशान की जमीन पर बना हुआ है जिसके कारण ऐसा हो रहा है।

कांग्रेस विधायक कैलाश त्रिवेदी का निधन इसके बाद मौजूदा सरकार के मंत्री भंवर लाल मेघवाल और बीजेपी की दिग्गज नेता किरण माहेश्वरी का निधन होना भी इसी से जोड़कर देखा जा रहा है।

ममता के गढ़ को ध्वस्त करने की बीजेपी की जबरदस्त तैयारी

क्या पश्चिम बंगाल में क्या खिलेगा कमल 

 

कोरोना काल में विपक्ष के लगातार आलोचना का शिकार हो रही बीजेपी ने बिहार चुनावों के साथ उप चुनावों में शानदार जीत हासिल करके विपक्ष को एक बार फिर कमजोर साबित कर दिया है। इस जीत के बाद बीजेपी का हौसला 7वें आसमान पर है तो दूसरी तरफ विपक्ष अपनी हार पर केवल मंथन करने के सिवाय कुछ नहीं कर पा रहा है।

पिछले कुछ समय से बीजेपी ने ममता बनर्जी के गढ़ कहे जाने वाले पश्चिम बंगाल में अपनी जमीनी ताकत मजबूत क

रने में लगी हुई है और इसका प्रमाण 2019 के लोकसभा चुनावों में मिल चुका है और इसके बाद पंचायत चुनावों में बीजेपी ने अच्छी जीत हासिल करके ममता के गढ़ में सेंध मार दी है।

अगले साल बंगाल में विधानसभा चुनाव होने जा रहे हैं और बीजेपी चुनावों से पहले बंगाल को जीतने के लिए जबरदस्त तैयारी शुरू कर दी है। सूत्रों की माने तो चुनावों से पहले बीजेपी के राष्ट्रीय अध्यक्ष के साथ कई बड़े मंत्री हर महीने बंगाल

का दौरा करेंगे। अगर बीजेपी बंगाल में वोट प्रतिशत के साथ सीटों की संख्या बढ़ाने में कामयाब होती है तो विधनासभा जाने का सफर ममता के लिए बहुत मुश्किल भरा हो जाएगा।

बंगाल चुनावों से पहले बीजेपी ने यह ऐलान कर दिया है कि वह इस बार बंगाल में कमल खिलाएगी और बंगाल का विकास करने के साथ सभी केन्द्र की सरकारी योजनाओं का लाभ देगी जो उसे अभी तक नहीं मिल पाया है।

राजस्थान की राजनीति में आया – लव जिहाद , इस्लामिक आतंकवाद के घोषित एजेण्डे में हैं ‘‘लव जिहाद’’ – सतीश पूनियां

मुख्यमंत्री गहलोत का ‘‘लव जिहाद’’ पर बयान उनकी  वोट बैंक की ओछी मानसिकता को दर्शाता है: डाॅ. सतीश पूनियां

 

इस्लामिक आतंकवाद के घोषित एजेण्डे ‘‘लव जिहाद’’ का शिकार होकर हमारी अबोध बच्चियां देश में उत्पीड़न की शिकार होती हैं: डाॅ. पूनियां

 

विश्वास नहीं होता कि वोट बैंक की राजनीति के लिए  मुख्यमंत्री गहलोत आप इतना गिर जाओगे: डाॅ. पूनियां

 

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जयपुर, 20 नवम्बर। भाजपा प्रदेशाध्यक्ष डाॅ. सतीश पूनियां ने मुख्यमंत्री अशोक गहलोत द्वारा दिये गये ‘‘लव जिहाद’’ के बयान पर पलटवार करते हुए कहा कि मुख्यमंत्री गहलोत का ‘‘लव जिहाद’’ पर बयान उनकी वोट बैंक की ओछी मानसिकता को दर्शाता है। उन्होंने कहा कि कांग्रेस की देशभर में हो रही दुर्दशा से वह इतना विचलित हो जाएंगे यह विश्वास नहीं होता, हम सब जानते हैं कि सनातन भारत की परम्परा में विवाह एक धार्मिक और सामाजिक मान्यता प्राप्त संस्कार है यह केवल व्यक्ति की स्वतंत्रता तक सीमित नहीं है।

डाॅ. पूनियां ने कहा कि मुख्यमंत्री गहलोत का यह बयान शर्मनाक है, भारत विश्व का पुरातन सनातन देश है, जहाँ विवाह एक नैसर्गिक संस्कार है, ‘‘लव जिहाद’’ इस्लामिक आतंकवाद का घोषित एजेण्डा है, विश्वास नहीं होता वोट बैंक की राजनीति के लिए आप इतना गिर जाओगे, कांग्रेस की दुर्दशा से विचलित होकर मानसिक सन्तुलन यूँ गड़बड़ होना स्वाभाविक ही है।

डाॅ. पूनियां ने कहा कि मुख्यमंत्री गहलोत ने भाजपा पर लगाया गया आरोप बेबुनियाद है, इस्लामिक आतंकवाद के एजेण्डे ‘‘लव जिहाद’’ का शिकार होकर हमारी अबोध बच्चियाँ देश में उत्पीड़न का शिकार होती हंै, यह जगजाहिर है। ऐसी परिस्थिति में गहलोत का यह बयान निश्चित तौर पर ओछी मानसिकता का परिचायक है।

 

 

मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने   ” लव जिहाद ” कानून पर क्या कहा था जानें –

एक ट्वीट में गहलोत ने लिखा कि ‘लव जिहाद बीजेपी की ओर से देश को विभाजित करने और सांप्रदायिक सौहार्द को बिगाड़ने के लिए बनाया गया एक शब्द है। विवाह व्यक्तिगत स्वतंत्रता का मामला है, उस पर अंकुश लगाने के लिए कानून लाना पूरी तरह से असंवैधानिक है और यह कानून किसी भी अदालत में नहीं टिकेगा। प्यार में जिहाद की कोई जगह ही नहीं है।’

राजस्थान में मुहँ की खाने के बाद संघी भाजपा के चाणक्य भांड मीडिया और नचनिया के मार्फत महाराष्ट्र सरकार को उकसा रहें – क्यों ख़ास हैं आर्थिक राजधानी और मराठी मानुष समझें

व्यंग्य मुंबई पटकथा – सरकार को अस्थिर करने का खेल 

मुंबई  | कांग्रेस मुक्त भारत का सपना देखने वाले संघीय फ़ासीवाद के चाणक्य कहलानें वाले मोटा भाई शांत हैं और अपना चित परिचित खेल शह मात बोलें तो शतरंज खेल रहें हैं अभी प्रथम पंक्ति के छोटे पयादे उछल कूद कर रहें हैं और मुख्य योद्धा अपने राजा की नाकामियों कुशासन कमियों और जनता के दुखों को नज़र अंदाज़ करने का प्रयास कर रहें हैं और खुले आसमान में रोज़गार और बुलेट ट्रेन दिखा रहा हैं आप देखना पसंद करते हो इस लियें जादूगर दिखा हैं जादू कोई मिल गया वाला लेकिन बेरोजगार युवा तनिक समझदार निकला बे – ट्विटर पर 9 बजकर 9 मिनट को प्रथम पंक्ति बोले तो नंबर 1 पर ट्रेडिंग करबा दिया और हमारी मणिकर्णिका दुसरे स्थान पर ही रह गई   |


भांड मीडिया स्वान के मार्फ़त अपने मालिक ठेकेदार के चक्षुओं के किनारों के चाल के अनुसार भोकन्ने का प्रयास प्रतिदिन संध्या काल के पश्चात रात्रि शगुन के पंचाग के दिशा मध्य कालीन पहर चोकड़िया निर्देशानुसार अपने स्टुडियों में राहु ग्रह के प्रतीक काले कपड़े पहने काला चश्मा लगा कर राजा बाबु के अभिनय के जैसे पाइल्स बवासीर  से दुखी प्राणी जैसे उछल उछल अमर्यादित वियाग्रह के अधिक डोज बोले तो ख़ुराक के कारण बोलता है – है संजय राउत कौन हो तुम ….हैं उर्धव ठाकरे कौन हो तुम ……….. – अरे उत्तेजित प्राणी वह जन प्रतिनिधि हैं जनता ने चुना हैं लेकिन भंगिया नशेड़ी तुम कौन हो यह ज्ञान हैं तुम्हें या पिछवाड़े में डंडे के बाद उछल कूद कर रहें हो जो भी कर रहें हो निन्दनीय हैं  !!

 

दूसरी एक बहुप्रतिभा कि धनी शादीशुदा लोगों के घर में ताक छाक करने वाली फिर कीचड़ उछालने में मशगूल रहने का प्रयास लड़ने वाली ट्विटर पर अपनी भड़ास निकाली वाली मोहतरमा शहमात में फँस चुकी हैं इन मोहतरमा का अभिनय तो ख़त्म हो चुका हैं अब बस बचता हैं राजनीति का खेल – मोहतरमा भी बड़ी ज्ञानी हैं बकलोल कर y+ सुरक्षा लेली ग़जब हैं भई !

सूना हैं आज काटी के घोड़े पर मणिकर्णिका के पात्र में अभिनय करते करते इन में झासी की रानी की आत्मीय लगाव ने इन्हें महारानी महूसस करबा दिया बे फिर क्या रे – महाराष्ट को पाकिस्तान और मुंबई को पाकिस्तान अधिग्रहत कश्मीर से तुलना कर दी तो मराठी मानुष को बुरा लगा और चले हाथ mcd ने चलवा दियें बुलडोजर और हथोड़े , मोहतरमा नाराज हो गई और बतयाने लगी – सुन हे उर्ध्र्व ठाकरे आज तूने मेरा घर तोडा हैं बे कल तेरा घमंड टोटेगा ……………….यह समय का पहिया हैं घूमता ज़रूर हैं ! !

mcd कार्यवाही केबाद कंगना

 

 

पंडित को पंडिताइन की चिंता शुद्र को उकसाने का प्रयास – संघीय पृष्टभूमि पूर्व भाजपा प्रमुख मध्य रात्री मुख्यमंत्री की शपथ लेने वाले और सूर्य की किरणों के उदय होते ही हैं इस्तीफ़ा देने वाले देव साब और हिमाचल की पंडताई एक स्वर में बोल रहे हैं और गोस्वामी के उछल कूद करने वाले उत्तेजित वंशज बोले तो तीनों शुद्ध चोटीधारी साथ हैं जैसे अकबर अमर एंटनी माफ़ करियेगा मॉडलिंग क्वीन  मिलकर एक शुद्र ठाकरे को  ललकार रहे हैं |

पैसा बोलता हैं सत्त्ता के पटल पर कहा जाता हैं क्रिकेट के 20 -20 का मामला 30 हजार करोड़ व फिल्मी दुनिया 6 हजार करोड़ के करीब हैं प्रतिवर्ष और समुद्र व भाई का खेल का हिसाब अलग हैं वह जब ही कब्जे में आ सकती हैं जब महाराष्ट्र की सत्ता पर काबिज हो इस के लिये साम दाम दंड भेद चल रहा हैं बाकी चनिया की आज कुछ अकड़ तो ढ़ीली हो चुकी बाकी समझदार को इशारा काफी – बोलो जय सिया राम ! !